आज से कई दशक पहले जब चारपाई या फिर बेड नहीं थे, तो लोग धरती पर ही चादर डालकर सो जाते हैं। उनका मानना था कि जमीन पर सोने से शरीर मजबूत रहता है और कई शारीरिक समस्याओं से छुटकारा मिलता है। क्या वाकई जमीन पर सोने के फायदे होते हैं, क्या वैज्ञानिक अध्ययन भी इस बात की तसदीक करते हैं? ऐसे कई सवालों का मन में उठना जाहिर है। इन सभी बातों का जवाब आपको इस लेख में मिलेगा। यहां जमीन पर सोना हानिकारक है या जमीन पर सोने के फायदे होते हैं, सभी बातों का जिक्र किया गया है।
जमीन पर सोने के फायदे – Benefits of Sleeping On The Floor in Hindi
जमीन पर सोने के फायदे से जुड़े अधिक शोध उपलब्ध नहीं हैं। ऐसे में इस लेख में हम कठोर गद्दे और शवासन के आधार पर जमीन पर सोने के फायदे बता रहे हैं। दरअसल, फर्म गद्दे भी फर्श के जैसे कठोर होते हैं और शवासन को फर्श पर लेटकर ही किया जाता है। इसी वजह से इन दोनों से होने वाले फायदे, जमीन पर सोने से भी मिल सकते हैं। चलिए, इनके आधार पर जमीन पर सोने के फायदे जानते हैं।
1. कमर के दर्द को कम करे
हल्का कमर दर्द हो, तो जमीन पर सोने के फायदे हो सकते हैं। एनआईएच (National Library of Medicine) द्वारा प्रकाशित एक रिसर्च में भी इस बात की पुष्टि होती है। वेबसाइट के अनुसार, कमर दर्द को कम करने और उसे स्वस्थ रखने के लिए फर्म सरफेस में सोना अच्छा होता है (1)। फर्म सरफेस में जमीन को भी शामिल किया जा सकता है।
एक रिसर्च पेपर के अनुसार, फर्म मैटरेस में सोने से पीठ और कमर दर्द को कम किया जा सकता है (2)। ऐसे ही एक अन्य रिसर्च के दौरान पीठ और कमर दर्द से जूझ रहे कुछ महिलाओं और पुरुषों के गद्दों को बदलकर उन्हें मध्यम कठोर गद्दे दिए गए। नतीजन उनकी पीठ दर्द की परेशानी कम हुई और नींद की गुणवत्ता भी बढ़ी (3)। इस अधार पर यह कहना गलत नहीं होगा कि फर्श पर सोने से भी हल्का कमर का दर्द कुछ कम हो सकता है।
2. ओवर हीटिंग की समस्या से राहत
रिसर्च के अनुसार, सोते समय उपयोग किया जाने वाले बिस्तर की वजह से रात के समय ओवर हीटिंग की समस्या होती है। इसके कारण बार-बार नींद टूटना और नींद पूरी ना होना आम बात है (4)। इस परेशानी से बचने के लिए जमीन पर सोना फायदेमंद माना जाता है। एक अध्ययन के मुताबिक, कंक्रीट के बने हुए फ्लोर में कूलिंग प्रभाव होता है (5)। इस आधार पर कहा जा सकता है कि कंक्रीट से बने फर्श पर सोने से ओवर हीटिंग नहीं होगी और व्यक्ति चैन की नींद सो पाएगा।
3. अनिद्रा का इलाज
अनिद्रा के घरेलु उपचार में जमीन पर सोना भी शामिल है। एक रिसर्च के अनुसार, रैपिड आई मूवमेंट स्लीप बिहेवियर डिसऑर्डर (RBD) यानी नींद में हाथ-पैर चलाना भी अनिद्रा का एक कारण है। इस दौरान सोते समय लोग बिस्तर से गिर भी जाते हैं। रिसर्च में कहा गया है कि जमीन पर सोने से आरबीडी के कारण लगने वाली चोट और अनिद्रा की समस्या में राहत मिल सकती है (6)।
इसके अलावा, नींद न आने की समस्या का एक कारण साेते समय होने वाली ओवर हीटिंग भी है। हम ऊपर भी बता ही चुके हैं कि फर्श पर सोने से ओवर हीटिंग को कुछ हद तक कम किया जा सकता है और नींद की गुणवत्ता ठीक हो सकती है। रिसर्च पेपर के अनुसार, सोते समय होने वाली ओवरहीटिंग से नींद बार-बार टूटती है। वहीं, जब नीचे बेड से गर्म महसूस नहीं होगा, तो नींद अच्छी आती है (4)।
4. पोश्चर में सुधार करता है
गलत पोश्चर में उठने, बैठने और सोने से कई प्रकार की समस्याएं होती हैं, जैसे कि पीठ में दर्द और रीढ़ की हड्डी की समस्या। सही पोश्चर में सोने से इन परेशानियों से बचा जा सकता है (7)। एक रिसर्च में बताया गया है कि यदि सोते समय फर्म मैटरेस का उपयोग किया जाए, तो शरीर का पोश्चर ठीक रखने में मदद मिल सकती है। यह रीढ़ की हड्डी को ज्यादा मुड़ने नहीं देता और इसका सपाट सरफेस शरीर को एक सही पोश्चर देता है (8)।
साथ ही यह कमर दर्द को भी कम कर सकता है, इसलिए लगभग 76 प्रतिशत ऑर्थोपेडिक सर्जन यानी हड्डी से जुड़े विशेषज्ञ भी फर्म मैटरेस पर सोने की सलाह देते हैं (8)। इस अधार पर कहा जा सकता है कि फर्म मैटरेस या जमीन पर सोना न सिर्फ जीवन शैली में, बल्कि शरीर के पोश्चर में भी सुधार करने में लाभदायक साबित हो सकता है।
5. तनाव से मुक्ति
शारीरिक स्वास्थ के साथ ही जमीन पर सोना मानसिक स्वास्थ्य के लिए लाभदायक हो सकता है। इससे तनाव की समस्या पर कुछ हद तक काबू पाया जा सकता है। दरअसल, जमीन पर लेटकर किए जाने वाले शवासन से मनोदशा में सुधार हो सकता है (9)।
इसे मानसिक स्थिति सुधारने की औपचारिक मनोचिकित्सा कहा जाता है। यह तनाव कम करके बेचैनी पर काबू पाने में मदद कर सकता है (9)। इस आधार पर कहा जा सकता है कि कुछ देर जमीन शवआसन की मुद्रा में लेटने से तनाव कम हो सकता है।
6. रीढ़ की हड्डी के लिए
रीढ़ की हड्डी के लिए फर्म मैटरेस पर सोना फायदेमंद हो सकता है। दरअसल, इस विषय पर हुए रिसर्च के अनुसार, जिन लोगों को रीढ़ की हड्डी की समस्या थी, उन्हें फर्म मैटरेस पर सोने की सलाह दी गई। इसके परिणाम स्वरूप उन महिलाओं और पुरुषों में हड्डियों को मजबूत और लचीला करने के साथ ही रीढ़ की हड्डी में भी लाभ देखे गए (8)। इस आधार पर कहा जा सकता है कि फर्म मैटरेस या फिर समतल स्थान जैसे कि जमीन पर सोना रीढ़ की हड्डी के लिए लाभदायक हो सकता है।
7. रक्त संचार में सुधार के लिए
ब्लड सर्कुलेशन को बढ़ाने के लिए जमीन पर लेटकर किए जाने वाले शवासन के लाभ देखे जा सकते हैं। एक रिसर्च के दौरान, उच्च रक्तचाप का उपचार करने के लिए शवासन किया गया। शोध में पाया गया कि शवासन करने से ब्लड प्रेशर से जुड़ी दवाओं की जरूरत कम हो सकती है और कुछ मामलों में पूरी तरह खत्म (10)। इस आधार पर कह सकते हैं कि जमीन पर लेटने से रक्तचाप की समस्या में सुधार होता है और ब्लड सर्कुलेशन भी बेहतर हो सकता है।
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