June 30, 2024

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जानें आखिर मां सरस्वती की उत्पत्ति कैसे हुई? जानिए रोचक कथा, वसंत पंचमी पर प्रिय भोग से पाएं सफलता !

आज 26 जनवरी यानि रिपब्लिक डे को वसंत पंचमी का दिन है. हिन्दू धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, वसंत पंचमी यानि माघ माह के शुक्ल पक्ष की पंचमी को माता सरस्वती की उत्पत्ति हुई थी. इस वजह से वसंत पंचमी के अवसर पर सरस्वती पूजा करते हैं. इस दिन माता लक्ष्मी को उनके प्रिय भोग अर्पित करके आप करियर या शिक्षा प्रतियोगिता में सफलता प्राप्त कर सकते हैं.

जानें आखिर मां सरस्वती की उत्पत्ति कैसे हुई? जानिए रोचक कथा, वसंत पंचमी पर प्रिय भोग से पाएं सफलता !

मां सरस्वती की उत्पत्ति

श्री कल्लाजी वैदिक विश्वविद्यालय के ज्योतिष विभागाध्यक्ष डॉ मृत्युञ्जय तिवारी बताते हैं कि मां सरस्वती ने ही इस सृष्टि को वाणी प्रदान की थी. उनसे ही ज्ञान का प्रकाश सभी मनुष्यों को प्राप्त हुआ है. पौराणिक कथा के अनुसार, जब ब्रह्मा जी ने सृष्टि की रचना का कार्य संपन्न कर दिया तो उन्होंने पाया कि सृष्टि में सबकुछ है, लेकिन सब मूक, शांत और नीरस है.

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तब उन्होंने अपने कमंडल से जल निकाला और छिड़क दिया, जिससे मां सरस्वती वहां पर प्रकट हो गईं. उन्होंने अपने हाथों में वीणा, माला और पुस्तक धारण कर रखा था. मां सरस्वती ने अपनी वीणा से वसंत राग छेड़ा. इसके फलस्वरूप सृष्टि को वाणी और संगीत की प्राप्ति हुई. उस ​तिथि को माघ शुक्ज पंचमी थी, इस​ वजह से इस तिथि को हर साल वसंत पंचमी मनाई जाती है और माता सरस्वती की पूजा की जाती है.

वसंत पंचमी के उपायों से पाएं सफलता

1. वसंत पंचमी के दिन आप मां सरस्वती को बूंदी, बेसन के लड्डू, केसर भात, पीले चावल, मालपुआ आादि भोग लगा सकते हैं. इससे देवी सरस्वती प्रसन्न होती हैं और भक्तों को शिक्षा, प्रतियोगिता, कला और संगीत के क्षेत्र में सफलता प्रदान करती हैं.

2. इस दिन पीले रंग के वस्त्र पहनने और गरीब बच्चों को कॉपी, किताब, पेन, पेंसिल आदि का दान करने से माता सरस्वती की कृपा प्राप्त होती है.

3. वसंत पंचमी को सरस्वती पूजा करते समय देवी शारदा के चरणों में पेन, कॉपी, पेंसिल आदि रखना चाहिए. इससे कुंडली में बुध ग्रह दोष दूर होगा. बुध के मजबूत होने से आपकी बुद्धि और निर्णय क्षमता बेहतर होगी.

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4. यदि आपके बच्चे का पढ़ाई में मन नहीं लगता है, वह एकाग्र होकर नहीं पढ़ता है तो आप वसंत पंचमी को माता सरस्वती को हरे रंगवाले फल और पीले फूल बच्चे को अर्पित करने को कहें. इससे बुध ग्रह सही होगा. समस्या दूर होगी.

5. वसंत पंचमी पर ऊं ऐं ह्रीं श्रीं क्लीं सरस्वत्यै नमः मंत्र का 108 बार जाप करने से उच्च शिक्षा में आने वाली समस्याएं दूर होती हैं.

6. एकाग्रता बढ़ाने के लिए वसंत पंचमी के दिन किताब में मोर पंख रखें.