भारत में कई चमत्कारिक व दिव्य मंदिर हैं. इन मंदिरों में अलग-अलग चमत्कार और अद्भुत चीज़ें व बातें होती रहती हैं, जो किसी को भी हैरान कर देती है.
ऐसा ही एक माता रानी दुर्गा का मंदिर भी है. जिसके लिए कहा जाता है कि इस मंदिर की मूर्ति से आज भी दुर्गा माता बाहर निकली हैं और आस-पास विचरण करती हैं.
पहाड़ियों पर बसा है यह माता रानी दुर्गा का मंदिर.
यह मंदिर छत्तीसगढ़ राज्य के चैतुरगढ़ नामक स्थान पर है. चैतुरगढ़ कोरबा के अंतर्गत पाली विकासखंड के घने जंगल व पहाड़ियों के बीच बसा हुआ स्थान है.
चैतुरगढ़ की पहाड़ी पर माता रानी दुर्गा का मंदिर स्थित है. यह मंदिर नागर शैली द्वारा बनाया गया है.
इस मंदिर में बारह भुजाओं वाली माता दुर्गा की महिषासुर मर्दिनी स्वरुप में मूर्ति स्थापित है. इस मंदिर में स्थापित यह अनोखी प्रतिमा ही इसे बेहद खास बनाती है. इस मंदिर की मूर्ति की आँखों में लगातार देखने से इसकी पलकों के झपकने का एहसास होता है.
मंदिर के पास मौजूद है प्राचीन किला.
कोरबा ज़िले से 90 किमी की दूरी पर स्थित इस अद्भुत जगह में चैतुरगढ़ का किला भी स्थापित है. यह किला कल्चुरी युग यानि 1069 शताब्दी का है. इस स्थान के राजा जाजल्व देव और विक्रमादित्य थे.
चैतुरगढ़ में 9वीं शताब्दी में विक्रमादित्य द्वितीय द्वारा बनवाया गया शिव मंदिर भी प्रसिद्ध है. वर्तमान समय में इन राजाओं का 5 वर्ग की.मी. में फैला यह किला खंडहर में तब्दील हो चुका है.
इस मंदिर की सीढ़ियां भी हैं बेहद खास. इस मंदिर में जाने के लिए खतरनाक रास्तों से होकर गुजरना पड़ता है. जंगल के बीचो-बीच बसे इस मंदिर में सीढ़ियों से चढ़कर जाना पड़ता है.
इन सीढ़ियों की खास बात यह है कि अगर माता रानी किसी को अपने मंदिर में प्रवेश नहीं देना चाहती, तो वह इंसान इन सीढियों से चढ़ नहीं पाता और मज़बूरी वश वापस लौट जाता है.
माता को विचरण करते हुए देखने का दावा है –
माता रानी के कई भक्तों की माने तो उन्होंने अपनी आंखों से माता रानी को विचरण करते हुए देखा है. हालांकि इस मंदिर के पूजारी और साधुओं के बारे में कहा जाता है कि वो लोग कोई मामूली इंसान नहीं है बल्कि अमीर घरों से ताल्लुक रखते हैं और इन्ही लोगों का कहना है कि उन्होंने माता रानी को मूर्ति से बाहर आकर विचरण करते हुए देखा है.
यह मंदिर जिस जगह पर बसा हुआ है, उसका जगह का नज़ारा भी दिव्य और अद्भुत है. मंदिर के पास कमल से भरा हुआ तालाब है साथ ही ऋषियों का आश्रम भी है.
आप भी माता दुर्गा के साक्षात दर्शन करना चाहते हैं, तो इस मंदिर में एक बार जरुर जाएं. क्योकि इस मंदिर की मूर्ति से हर रोज़ माता दुर्गा बाहर निकलती हैं.
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